09 जुलाई को INDIA गठबंधन करेगा बिहार बंद

रिपोर्ट: तारकेश्वर प्रसाद, आरा, बिहार

आरा: भारतीय चुनाव आयोग पर केंद्र सरकार के इशारे पर काम करने और लोकतांत्रिक प्रक्रिया को प्रभावित करने के आरोपों के बीच INDIA गठबंधन ने आगामी 09 जुलाई को बिहार बंद का आह्वान किया है। यह बंद विशेष रूप से प्रवासी मजदूरों, गरीबों, दलितों, पिछड़ों, अतिपिछड़ों और अल्पसंख्यकों के नाम मतदाता सूची से कथित रूप से हटाने की साजिश के खिलाफ किया जा रहा है। इस मुद्दे को लेकर INDIA गठबंधन समन्वय समिति – भोजपुर की एक एकदिवसीय बैठक आयोजित की गई, जिसमें बंद को सफल बनाने की रणनीति पर चर्चा की गई।

बैठक को संबोधित करते हुए INDIA गठबंधन के नेताओं ने कहा कि मतदाता पुनर्निरीक्षण अभियान को एक राजनीतिक हथियार की तरह इस्तेमाल किया जा रहा है। आरोप लगाया गया कि भारतीय चुनाव आयोग मोदी सरकार के इशारे पर प्रवासी मजदूरों, गरीब तबकों और विपक्षी मतदाताओं के नाम सूची से काटने का काम कर रहा है।

उन्होंने कहा कि यह कोई साधारण गलती नहीं, बल्कि संविधान और लोकतंत्र को कुचलने की एक सुनियोजित साजिश है। यह सिर्फ मतदाता सूची में बदलाव नहीं, बल्कि लोकतंत्र की हत्या की ओर एक गंभीर कदम है।

बैठक में वक्ताओं ने आरोप लगाया कि एक ओर फर्जी वोट जोड़े जा रहे हैं, वहीं दूसरी ओर आम जनता के वास्तविक वोट काटे जा रहे हैं। खासकर दलित, पिछड़ा, अतिपिछड़ा, अल्पसंख्यक और प्रवासी मजदूर वर्ग को निशाना बनाया जा रहा है, ताकि आगामी चुनावों में इन वर्गों के मतदान प्रभाव को खत्म किया जा सके।

INDIA गठबंधन के प्रतिनिधियों ने तीखा हमला बोलते हुए कहा कि मोदी-नीतीश की जोड़ी अपनी चुनावी हार से घबराकर अब लोकतांत्रिक संस्थाओं का दुरुपयोग कर रही है। उन्होंने कहा कि जब जनता का समर्थन नहीं मिलता, तब सरकारें ऐसी तानाशाही चालें चलती हैं। यह बंद लोकतंत्र को बचाने की दिशा में एक जन आंदोलन है।

भोजपुर की जनता से INDIA गठबंधन ने सीधा संवाद करते हुए अपील की कि वे इस बंद में पूरी ताकत के साथ भाग लें। वक्ताओं ने कहा,

अगर आपके मत का अधिकार ही छीन लिया जाएगा, तो लोकतंत्र किसका रहेगा? संविधान किसके लिए बनेगा? यह सिर्फ वोट की लूट नहीं, यह जनमत की हत्या है। ऐसे में हर जागरूक नागरिक को 09 जुलाई को सड़क पर उतरना होगा।”

INDIA गठबंधन ने स्पष्ट किया कि यह बंद किसी राजनीतिक दल का प्रदर्शन नहीं, बल्कि देश के लोकतांत्रिक मूल्यों और मतदाता अधिकारों की रक्षा के लिए संघर्ष है। यह बंद देश के संविधान, मतदान प्रणाली और जन अधिकारों की रक्षा हेतु एक लोक-आंदोलन बनेगा।

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