दही-हांडी महोत्सव: जुटीं गोविंदाओं की टोली, उत्साह से गूंजा चौकीपुर गांव

ReportBy: तारकेश्वर प्रसाद

आरा: जन्माष्टमी के पावन अवसर पर दही-हांडी महोत्सव की धूम पूरे देश में देखने को मिल रही है। बिहार के भोजपुर जिले के उद्वंतनगर थाना क्षेत्र के चौकीपुर गांव में इस बार का आयोजन बेहद खास रहा। यहाँ की गलियों और चौपालों में गूंज रहे ढोल-नगाड़ों और जयकारों ने पूरे माहौल को भक्तिमय बना दिया।

गांव के मुख्य मैदान में 20 फीट ऊँचाई पर दही-हांडी बांधी गई थी। इसे फोड़ने के लिए कई युवा टोलियाँ “गोविंदा आला रे” के नारों के साथ मैदान में उतरीं। युवाओं ने पिरामिड बनाकर हांडी तक पहुँचने की कई बार कोशिश की। गिरते-पड़ते और फिर से उठ खड़े होते इन जोशिले युवाओं का साहस देखने लायक था।

काफी रोमांचक माहौल के बीच दर्जनों प्रयासों के बाद अंततः एक टीम ने माखन और दही से भरी हांडी को तोड़कर जीत हासिल की। जैसे ही हांडी टूटी, पूरा मैदान तालियों और जयकारों से गूंज उठा। गांव की महिलाओं और बच्चों ने भी इस उत्सव का भरपूर आनंद लिया।

आरा में दही-हांडी उत्सव को सिर्फ धार्मिक ही नहीं बल्कि साहसिक खेल का दर्जा भी दिया गया है। आयोजकों का मानना है कि यह खेल युवाओं में अनुशासन, टीमवर्क और साहसिक भावना का संचार करता है।

चौकीपुर गांव में दही-हांडी प्रतियोगिता के अवसर पर मेला जैसा माहौल रहा। जगह-जगह खाने-पीने के स्टॉल लगे, बच्चों के लिए झूले और खेलों की व्यवस्था की गई। ग्रामीण और आसपास के क्षेत्रों से भारी संख्या में लोग इस आयोजन को देखने पहुंचे।

आयोजन समिति के सदस्यों ने सुरक्षा और अनुशासन का पूरा ध्यान रखा। खिलाड़ियों की गिरने पर मदद के लिए नीचे गद्दों और पानी के छिड़काव की व्यवस्था की गई थी ताकि किसी को चोट न लगे।

इस पूरे आयोजन ने चौकीपुर गांव ही नहीं, बल्कि पूरे क्षेत्र को एकता और उत्साह के रंग में रंग दिया। दही-हांडी फोड़ने वाली विजेता टोली को सम्मानित किया गया और सभी प्रतिभागियों को स्मृति-चिह्न और प्रमाण पत्र भी वितरित किए गए।

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