आरा में मंत्री जीवेश कुमार की समीक्षा बैठक में वार्ड पार्षदों का हंगामा, “गो बैक” के नारे लगे

Report By: तारकेश्वर प्रसाद
आरा : भोजपुर जिले में नगर विकास एवं आवास विभाग के मंत्री जीवेश कुमार द्वारा आयोजित शिलान्यास, उद्घाटन और समीक्षा बैठक के दौरान वार्ड पार्षदों ने जमकर हंगामा किया। वार्ड पार्षदों ने समाहरणालय सभागार में “गो बैक” का नारा लगाते हुए अपना विरोध दर्ज कराया, जिससे कुछ समय के लिए सभा का माहौल तनावपूर्ण हो गया।
सूत्रों के अनुसार, मंत्री जीवेश कुमार आरा पहुंचे थे, जहां उन्होंने जिले में विभिन्न नगर निकायों के अंतर्गत लगभग 10 करोड़ रुपये की योजनाओं का शुभारंभ किया। वहीं वार्ड पार्षदों का आरोप था कि वे छोटे-छोटे कार्यों को पूरा कराने के लिए मोहल्ले में लोगों के सामने फजीहत झेलते हैं, लेकिन उनकी समस्याओं और शिकायतों को मंत्री और विभागीय अधिकारी गंभीरता से नहीं सुनते।
वार्ड पार्षदों ने सबसे पहले सर्किट हाउस का रुख किया, ताकि मंत्री से सीधे मिलकर अपनी मांगों और शिकायतों को साझा किया जा सके। लेकिन वहां कुछ अधिकारियों ने उन्हें मंत्री से मिलने की अनुमति नहीं दी, जिसके चलते पार्षदों और अधिकारियों के बीच तीखी नोकझोंक और वाकयुद्ध शुरू हो गया। इसके बाद जैसे ही मंत्री समीक्षा बैठक में शामिल होने के लिए डीएम कार्यालय पहुँचे, वार्ड पार्षदों ने उनके खिलाफ विरोध प्रदर्शन करते हुए नारेबाजी जारी रखी।
हंगामे के कारण समाहरणालय सभागार का वातावरण कुछ समय के लिए अफरातफरी वाला बन गया। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए स्थानीय विधायक और अन्य पदाधिकारियों ने वार्ड पार्षदों से संवाद कर उन्हें शांत कराया। इसके बाद उन्हें बैठक में शामिल होने का आग्रह किया गया। अंततः वार्ड पार्षद अधिकारियों और विधायक के समझाने के बाद समीक्षा बैठक में शामिल हुए।
बैठक के दौरान मंत्री जीवेश कुमार ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि नगर निकायों में चल रहे योजनाओं के कार्य समय पर और पारदर्शी ढंग से पूरा किए जाएँ। उन्होंने वार्ड पार्षदों और स्थानीय प्रतिनिधियों से कहा कि वे सुनिश्चित करें कि हर वार्ड में जनता की समस्याओं को सुना जाए और छोटे-छोटे कार्यों में पारदर्शिता रहे।
इस अवसर पर बैठक में स्थानीय विधायक, सांसद, जिला पदाधिकारी, उप विकास आयुक्त, समाहरणालय के अन्य अधिकारी, निर्वाचक और नगर निकायों के प्रतिनिधि उपस्थित थे। मंत्री ने राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों से भी संवाद कर उनका फीडबैक लिया और पूछा कि जनता के हित में योजना संचालन में कोई बाधा तो नहीं आ रही है।
समीक्षा बैठक में मंत्री ने यह भी स्पष्ट किया कि किसी भी पारदर्शी योजना में स्थानीय प्रतिनिधियों और अधिकारियों के बीच समन्वय अत्यंत महत्वपूर्ण है। उन्होंने सभी उपस्थित अधिकारियों और पार्षदों को निर्देश दिए कि जनहित और सार्वजनिक कार्यों में किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
वार्ड पार्षदों का विरोध इस बात का संकेत था कि छोटे कार्यों में स्थानीय जनता की शिकायतें गंभीरता से सुनी जाएं और स्थानीय प्रतिनिधियों की भूमिका को नजरअंदाज न किया जाए। बैठक के दौरान मंत्रियों और अधिकारियों ने सभी मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की और सुनिश्चित किया कि हर वार्ड में योजनाओं के सुचारू क्रियान्वयन के लिए उचित निगरानी की जाएगी।
इस पूरे घटनाक्रम ने यह दिखाया कि स्थानीय प्रतिनिधियों और अधिकारियों के बीच संवाद और सहयोग कितना महत्वपूर्ण है। हंगामे के बावजूद, समीक्षा बैठक सफलतापूर्वक संपन्न हुई और मंत्री ने भविष्य में योजनाओं के बेहतर कार्यान्वयन की दिशा में आवश्यक कदम उठाने का आश्वासन दिया।