इटावा में भाजपा, सपा और प्रसपा नेताओं के बाद अब कांग्रेस पार्टी में टूट शुरू हो गई है। कांग्रेस के 2 वरिष्ठ नेताओं ने बीजेपी की सदस्यता ग्रहण की। टिकट न मिलने से नाराज पूर्व लोकसभा प्रत्याशी हंसमुखी शंखवार और पूर्व सदर विधानसभा प्रत्याशी एडवोकेट प्रेम शंकर शर्मा ने कांग्रेस को अलविदा कह दिया। लखनऊ में भाजपा नेताओं के समक्ष उन्होंने सदस्यता ग्रहण कर भगवा चोला अपनाया।
टिकट और मान-सम्मान के लिए छोड़ रहे पार्टी
इटावा में चुनाव इस बार खासा दिलचस्प होता दिखाई दे रहा है। राष्ट्रीय पार्टी के बड़े चेहरों ने टिकट न मिलने या पार्टी में मान-सम्मान न मिलने से नाराजगी जाहिर करते हुए दल-बदल की राजनीति शुरू कर दी है। हाल ही में भरथना सीट से स्नेहलता दोहरे को कांग्रेस से टिकट मिलने के बाद, हंसमुखी शंखवार ने नाराजगी जाहिर करते हुए कांग्रेस कार्यालय के बाहर प्रदेश नेतृत्व रोहित चौधरी, अनिल यादव का पुतला फूंक कर विरोध प्रदर्शन किया था।
जिले की तीनों विधानसभा सीटों पर तीसरे चरण के 20 फरवरी को मतदान होना है, जिसके लिए महज 13 दिन बचे हैं। उससे पूर्व लंबे समय से एक ही पार्टी में रहकर काम करने वालीं वरिष्ठ नेत्री एवं नेता अब चुनाव के आखिरी दौर में दल-बदल का खेल करके राजनीति के समीकरण बदलने के प्रयास में जुटे हैं।
भाजपा नेता मनीष यादव ने दिया था इस्तीफा
जिले में बड़े नेता माने जाने वाले बीजेपी से विधानसभा प्रत्याशी मानीष यादव पतरे ने भाजपा पर पिछड़े वर्ग की उपेक्षाओं का आरोप लगाते हुए भाजपा की सदस्यता से अपने दर्जनों कार्यकर्ताओं के साथ इस्तीफा देते हुए समाजवादी पार्टी का दामन थाम था, लेकिन मनीष यादव की सपा के टिकट पर चुनाव लड़ने की कोई मंशा सामने नहीं आई थी। इसके बाद समाजवादी पार्टी और नगरपालिका परिषद के पूर्व चैयरमैन कुलदीप गुप्ता की जगह सर्वेश शाक्य को टिकट मिलने से नाराज कुलदीप ने बसपा का दामन थामा और बसपा का टिकट लेकर सदर सीट से ताल ठोंक दी।
वहीं सपा से पूर्व सांसद व प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष रघुराज सिंह जो कि सपा-प्रसपा गठबंधन से सदर विधानसभा से चुनाव लड़ने की तैयारी में जुटे हुए थे, लेकिन टिकट न मिलने से नाराज होकर रघुराज सिंह व उनके सहयोगी कृष्ण मुरारी गुप्ता ने अपने नेता शिवपाल सिंह से बगावत करते हुए भाजपा की सदस्यता लेने का निर्णय लिया।
45 वर्षों से कांग्रेस से जुड़े थे प्रेम शंकर शर्मा
कांग्रेस नेता व पूर्व विधानसभा प्रत्याशी एडवोकेट प्रेम शंकर शर्मा प्रदेश महासचिव कांग्रेस पिछले 45 वर्षों से जुड़े हुए थे, जो कि काफी समय से किसी बात को लेकर नाराज चल रहे थे। जिन्होंने कांग्रेस छोड़कर भाजपा की सदस्यता ग्रहण कर ली है। साथ ही कांग्रेस जिला कार्यकारिणी सक्रिय नेत्री एडवोकेट हंसमुखी शंखवार टिकट न मिलने से नाराज होकर कांग्रेस को छोड़कर भाजपा की सदस्यता ग्रहण कर ली है।