उत्तर प्रदेश में ग्राम चौपालों से ग्रामीणों को राहत: अब तक 4.67 लाख से अधिक समस्याओं का निस्तारण

Report By : स्पेशल डेस्क

लखनऊ : उत्तर प्रदेश सरकार के “ग्राम चौपाल” कार्यक्रम के तहत ग्रामीण क्षेत्रों की समस्याओं का त्वरित समाधान किया जा रहा है। उप मुख्यमंत्री श्री केशव प्रसाद मौर्य के नेतृत्व में प्रत्येक शुक्रवार को प्रदेश के प्रत्येक विकास खंड की दो ग्राम पंचायतों में चौपालों का आयोजन किया जा रहा है। इन चौपालों के माध्यम से अब तक 4.67 लाख से अधिक शिकायतों का समाधान किया जा चुका है।

सरकार का यह प्रयास न केवल लोगों की शिकायतों को सुलझाने में मदद कर रहा है, बल्कि सरकारी योजनाओं को प्रभावी ढंग से लागू करने का माध्यम भी बन रहा है।

ग्राम चौपाल: एक प्रभावी पहल
ग्राम चौपालों के आयोजन से ग्रामीण क्षेत्रों में चल रही सरकारी योजनाओं की जमीनी हकीकत का पता चलता है। साथ ही, प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण (PMAY-G) के अंतर्गत पात्र लाभार्थियों के चयन में भी पारदर्शिता बनी हुई है।

उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने कहा,”ग्राम चौपालों से ग्रामीणों को उनके गांव में ही समाधान मिल रहा है। सरकार स्वयं गांवों में जाकर जनता की समस्याएं सुन रही है। यह पहल प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण के पात्रों के चयन में भी सहायक सिद्ध होगी।”

शुक्रवार को 1,313 ग्राम पंचायतों में हुआ चौपालों का आयोजन
ग्राम्य विकास विभाग के आंकड़ों के अनुसार, 9 फरवरी 2025 (शुक्रवार) को प्रदेशभर में 1,313 ग्राम पंचायतों में चौपालों का आयोजन किया गया, जिनमें 3,539 मामलों का निस्तारण मौके पर ही किया गया।

इन चौपालों में 3,213 ब्लॉक स्तरीय अधिकारी व कर्मचारी तथा 5,765 ग्राम स्तरीय कर्मचारी उपस्थित रहे। इसके अलावा, 71,000 से अधिक ग्रामीणों ने भी इन बैठकों में सहभागिता की।

ग्राम्य विकास विभाग के आयुक्त  जी. एस. प्रियदर्शी ने बताया कि,”जनवरी 2023 से अब तक 1,24,000 से अधिक ग्राम चौपालें आयोजित की जा चुकी हैं। इनमें 84 लाख 34 हजार से अधिक ग्रामीणों ने भाग लिया और 4,67,000 से अधिक मामलों का समाधान किया गया।”

चौपालों में सफाई और प्रचार-प्रसार पर विशेष ध्यान
ग्राम चौपालों के आयोजन से पहले गांवों में सफाई व्यवस्था पर विशेष जोर दिया जा रहा है। इसके साथ ही, अधिक से अधिक ग्रामीणों को इन चौपालों की जानकारी देने के लिए प्रचार-प्रसार भी किया जा रहा है।

उप मुख्यमंत्री श्री केशव प्रसाद मौर्य ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि चौपालों का आयोजन सुनियोजित और प्रभावी ढंग से किया जाए, ताकि अधिकतम ग्रामीणों को इसका लाभ मिल सके।


उन्होंने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण के नए पात्र लाभार्थियों के चयन में ग्राम चौपालें अहम भूमिका निभाएंगी। इसके तहत पात्रों के चयन में पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए आंकलन भी किया जाएगा।

ग्राम चौपालों का असर: सरकारी योजनाओं को गति
ग्राम चौपालों के माध्यम से न केवल व्यक्तिगत समस्याओं का समाधान हो रहा है, बल्कि गांव के सार्वजनिक मुद्दों पर भी चर्चा की जा रही है। इससे ग्रामीण विकास योजनाओं का प्रभावी क्रियान्वयन हो रहा है और प्रशासन को गांवों की वास्तविक जरूरतों का पता चल रहा है।

सरकार का यह प्रयास ग्रामीणों को सीधे शासन से जोड़ने और उनकी समस्याओं का मौके पर समाधान करने की दिशा में एक बड़ा कदम साबित हो रहा है।

उत्तर प्रदेश में ग्राम चौपालें सरकार और ग्रामीण जनता के बीच एक मजबूत सेतु के रूप में कार्य कर रही हैं। गांव की समस्या का समाधान अब गांव में ही संभव हो रहा है। इससे सरकारी योजनाओं की पारदर्शिता बनी हुई है और प्रशासनिक व्यवस्था को मजबूती मिल रही है।

ग्राम चौपालों के माध्यम से उत्तर प्रदेश सरकार “सबका साथ, सबका विकास” के लक्ष्य को धरातल पर उतारने में सफल होती दिख रही है।

Mukesh Kumar

मुकेश कुमार पिछले 3 वर्ष से पत्रकारिता कर रहे है, इन्होंने सर्वप्रथम हिन्दी दैनिक समाचार पत्र सशक्त प्रदेश, साधना एमपी/सीजी टीवी मीडिया में संवाददाता के पद पर कार्य किया है, वर्तमान में कर्मक्षेत्र टीवी वेबसाईट में न्यूज इनपुट डेस्क पर कार्य कर रहे है !

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